रस्म-उल-ख़त में कोई हर्फ नहीं
आंखों में रोक के बैठी हूं,
मुझमें है बचा कोई ज़र्फ़ नहीं। "
रस्म-उल-ख़त - script
हर्फ - word
ज़र्फ़ - vessel, container
'The Abode',as the dictionary says is a housing that someone is living in, your residence. I tend to question my childhood dream of an Abode-my small and happy world. "Do i really want a residence where my travel would cease and i would get settled?" "Does such an abode actually exist?" "IF MY JOURNEY DEPRIVES ME OF 'MY ABODE', I HAVE NO REGRETS!!"
Bagh-e-Bahisht Se Mujhe Hukam-e-Safar Diya Tha Kyun Kaar-e-Jahan Daraz Hai, Ab Mera Intezar Kar - Mohammad...
रस्म-उल-ख़त में कोई हर्फ नहीं
आंखों में रोक के बैठी हूं,
मुझमें है बचा कोई ज़र्फ़ नहीं। "
रस्म-उल-ख़त - script
हर्फ - word
ज़र्फ़ - vessel, container
ख्वाब संजो के कुछ हाथों में पहन रखें हैं, रेज़ा रेज़ा उसे तारों में बुना करता हूं।
और एक बर्फ-सी की नज़्म इन आंखों में लिए
कभी कैनवस कभी कागज़ पे फिरा करता हूं..
- तुमने अल्फ़ाज़ पढ़ें है कभी -
उंगलियों पर अटके ?
Inch by inch, every part.
Here I am,
- like a blank sheet -
- like a slate black-grey -
- like a white canvas -
- like a stack of clay -
Touch me with your nothingness.
Make me art.
वो अपनी नींद भरी आंखों में समेटे हुए
सवाल कुछ तवील था...
मैं जवाब करता या तलफ
वक्त कितना कलील था।
आज कागज़ पे
लिखूंगा
आँखें उसकी।
तवील- लंबे
तलफ- to absorb
कलील- थोड़ा
Ps - A beautiful plum headed parakeet clicked somewhere in the jungles of Lalitpur, Uttar Pradesh
कानों के बूंदों में
पत्तियों सा खनकता
- एक हर्फ -
जम रहा है ।।
गर्म सूरज-सा
अब थम रहा है ।।
कभी तू कभी मैं,
कभी हम रहा है ।।
पत्तों की सरसराहट और पंछियों की गुनगुन सुनती
एक बेंच
मेहसूस किया करती है
एक प्याली गर्म कॉफी सा सूरज।